Myaar Ki Kalam by Shivam Tarware

275.00

मेरी यह किताब पूरी तरह से मेरे जीवन में होने वाली सभी छोटी बड़ी घटनाओं पर या फिर मेरी ख्यालों की दुनिया के हलचल पर आधारित है। जो कुछ भी मैं महसूस करता हु या सोचता हु वह मेरी रचनाओं का हिस्सा बन कर किताब पर उतर जाती है। मैने अपनी किताब “म्यार की कलम” में कही शायरी कही शेर तो कही गजलों और कही कही पर कविताओं से अपनी भावनाएं प्रकट करने का प्रयास किया। मेरी रचनाओं में अधिकांशतः इश्क का जिक्र हुआ है, इश्क जो हीर रांझे ने किया, इश्क जो लैला मजनू ने किया उसकी गहराइयों को बिना किसी का नाम उजागर करते हुए अपनी शायरी का आधार स्तंभ बनाया।कुल मिलाकर मैने अपनी किताब “म्यार की कलम” में प्रेम की धारा को रास्ता देने का काम किया है।
धन्यवाद….

  • Publisher ‏ : ‎ Booksclinic Publishing 
  • Language ‏ : Hindi
  • Page : 161
  • Size : 5×8
  • ISBN-13 ‏ : ‎9789358235104
  • Reading Age ‏ : ‎ 3 Years 
  • Country Of Origin ‏ : ‎ India
  • Generic Name ‏ : ‎ Book

1 in stock (can be backordered)

SKU: book1827BCP Category:

Description

“मैं शिवम तरवरे,मैने अपने जीवन के शुरुवाती दिनों को अपने ही ग्राम सोनपुरी में बिताया। मैं प्रारंभ से ही शायरी को लेकर रुचि रखता आया हु , यह बात अलग है की मैने पिछले तीन वर्षो से ही शायरी लिखना शुरू किया किंतु मैं शायरी,गजलों से बहुत पहले से ही जुड़ा हुआ व्यक्ति रहा हु। मैं वर्तमान में BA 1St year बालाघाट पीजी कॉलेज से कर रहा हु। मेरे पिताजी एक गवर्मेंट सर्वेंट रहे है और मां पूर्व से ही हाउस वाइफ। हम चार भाई बहन है जिसमे मैं सबसे छोटा हु। मेरे जीवन का उद्देश्य IAS बनना है।
धन्यवाद….”

Additional information

Dimensions 5 × 8 cm

Reviews

There are no reviews yet.

Only logged in customers who have purchased this product may leave a review.